अब इन्सान चाहता है क्या और होता है क्या ये तो आप सबको पता ही है। चाहा था 2007 में कि ब्लॉग लिखूँगा, वक़्त मिला गया ऐसा लगता था; सो लिख रहा हूँ 2010 में। वो भी पहला महीना ही नहीं आधी फ़रवरी भी बिता कर। अरे भाई, वक़्त से क्या होता जब गुरू ही नहीं मिले थे?
अब गुरू मिले तो शुरू हो गया। वैसे हमारे गुरू ज्ञानदत्त जी का भी प्रभामण्डल गज़ब का है! उनके चरणों का प्रताप है कि जिस कमरे में बैठते हैं उसके ठीक नीचे बैठते हैं हमारे कपिल भाई - सो कवि हो गए। हम पर असर यह कि कवि थे सो गद्य में लिखना शुरू कर दिया। छ्पास कभी रही नहीं, मगर ब्लॉग ऐसा चर्राया कि रोज़ाना कोशिश जारी है। अभी सीख रहे हैं सो कुछ उल्टा-सुल्टा कमेण्ट मत मारिएगा आप लोग। बाद में तो हम खैर सीख जाएँगे तो फिर सीखे-सिखाए आदमी पर कमेण्ट करना तो आप लोगों को वैसे भी शोभा नहीं 'डे' गा।
अब जरा जाएँ गुरू जी से सीख के आएँ कि फोटो, वीडियो, कमेण्ट सब कइसे क्या होता है, फिर बताते हैं एक-एक को…
और क्या, पहलवानियै जैसे तो हम कर रहे हैं ई ब्लॉगिंग…
8 comments:
बाह गुरु, तु का कहि गईला हमरे त भेजा के ऊपर ऊपर से निकर गएल ! एह ब्लॉग वाले अखाड़ा में तोहसे के हाथ मिलाई ! हम त ट्रांसपोर्ट/एक्सीडेंट क्लेम वाले क़ानून में पी.एच.डी कईले हई तबो तोहसे डर लागत बा !
चलिये कम से कम शुरु तो किया
आपकी पहलवानी का इंतजार है, शुभकामनाएँ आपको हिन्दी ब्लॉग जगत से जुड़ने के लिये।
Dear,
Glad to know that you have entered the Blog-world. I am also trying to write on blog but do not know how ? Will you pleasse inform me how can I write on blog. I am a Hindi writer and want to write on blog and moreove I want to creat my own blog site. Can you tell me how ? Please
Thanks
my ID : khuranarkk@yahoo.in
R K KHURANA
9216888063
शुभकामनाएँ आपको हिन्दी ब्लॉग जगत से जुड़ने के लिये।
ब्लॉगर पर भी आपको देखकर अच्छा लग रहा है ।
जारी रहिये...उन्हीं चरणों के हम भी दास हैं.
very nice |स्वागत और शुभकामनायें। कृप्या अगर वर्द वेरिफिकेशन हटा लें तो अच्छा रहेगा। इससे कमेन्ट देने मे असुविधा रहती है। धन्यवाद्
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